Shero ki shayari in hindi
दिन तो जैसे तैसे गुजर जाता है
रात कि तन्हाई बहुत सताती है
इतना तो क़रीब रहो दूर ना लगे
जिंदगी भी अजानबी सी लगती है
कहिए जो झूट तो हम होते हैं कह के रुस्वा
सच कहिए तो ज़माना यारो नहीं है सच का
ताउम्र बस एक ही सबक याद रखिये,
दोस्ती और इबादत में नीयत साफ़ रखिये।
shero shayari
जी बहुत चाहता है सच बोलें
क्या करें हौसला नहीं होता
हुस्न वालों को क्या जरूरत है संवरने की
वो तो सादगी में भी क़यामत की अदा रखते हैं
जिन्हें ये फ़िक्र नहीं सर रहे रहे न रहे
वो सच ही कहते हैं जब बोलने पे आते हैं
बचपन भी कमाल का था खेलते खेलते चाहें छत पर
सोयें या ज़मीन पर,
आँख बिस्तर पर ही खुलती थी
shero shayari
ना प्यार काम हुआ हा न ही प्यार का अहेसास
बस उसके बिना ज़िन्दगी काटने की आदत हो गई
आहटों से कह दो कि आहटें ना करें,
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मेरा महबूब सो रहा है मेरी पलकों में
ज़र्रे जर्रे में छुपा है हौसलेवालों का जोश
पैदा होते है इसी मिट्टी से ही सरफ़रोश
shero shayari
ये सोचकर उसके हर बात पे यकींन किया था मैंने
की इतने हसीन होंठ झूठ कैसे बोलेंगे
कभी सोचता हूँ वो क्यों मिला मुझे
फिर सोचता हूँ वो क्यों नहीं मिला मुझे